चीन में फिर बढ़े कोरोना केस, आंकड़ों से हो रहा खेल

बीजिंग में कोविड-19 संक्रमण एक बार फिर अपने चरम पर पहुंच चुका है, लेकिन चीन की सरकार अभी भी सार्वजनिक रूप से इस खतरे को स्वीकारने से बच रही है। अप्रैल में सामने आए आंकड़ों के अनुसार, देश में कुल 1,68,507 कोरोना मामलों की पुष्टि हुई है। चीनी सेंटर ऑफ डिजीज कंट्रोल (CDC) की रिपोर्ट बताती है कि मात्र एक महीने के भीतर कोरोना पॉजिटिविटी रेट 7.5% से बढ़कर 16.2% हो गई है, जो बेहद चिंताजनक है।

विशेषज्ञों का मानना है कि यह लहर ओमिक्रॉन वैरिएंट के XDV स्ट्रेन से फैली है। हालांकि उन्होंने आश्वासन दिया कि अगले महीने से मामलों में गिरावट आने की संभावना है, लेकिन सरकार की चुप्पी और डेटा में पारदर्शिता की कमी वैश्विक चिंता का कारण बन रही है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के पूर्व सलाहकार डॉ. ली वेन ने चेतावनी दी, “अगर चीन ने समय रहते सटीक जानकारी साझा नहीं की, तो पूरी दुनिया एक बार फिर महामारी की चपेट में आ सकती है।”

भारत में भी कोरोना ने फिर से दस्तक दी है। स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार देश में फिलहाल 1,000 से अधिक एक्टिव केस हैं, जिनमें से अकेले दिल्ली में 103 मरीज इलाजरत हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि चीन द्वारा आंकड़ों को छिपाना वैश्विक स्वास्थ्य सुरक्षा के लिए एक गंभीर खतरा है। ऐसे में अंतरराष्ट्रीय सहयोग और पारदर्शिता की आवश्यकता पहले से कहीं अधिक बढ़ गई है।

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